सोशल संवाद / नई दिल्ली ( रिपोर्ट – सिद्धार्थ प्रकाश ) : भाजपा की दिल्ली पुलिस ने गुरुवार को देर शाम दिल्ली सरकार में मंत्री सौरभ भारद्वाज और आम आदमी पार्टी के विधायकों को हिरासत में लिया। वह सुबह से नौकरी से निकाले गए बस मार्शलों के साथ उनकी मांगे उठाने के लिए एलजी साहब से उनकी बहाली के लिए बात करने के लिए बैठे थे। एलजी साहब के आदेश पर उनकी दिल्ली पुलिस ने पहले उस सड़क की सारी लाइट बंद कर दी और उसके बाद पुलिस ने बस मार्शलों विधायकों और मंत्री सौरभ भारद्वाज को ज़बरदस्ती घसीटते हुए ले गए। मंत्री सौरभ भारद्वाज के साथ तिलक नगर से विधायक जरनैल सिंह और मुस्तफाबाद से विधायक हाजी यूनुस को भी हिरासत में लेकर बुराड़ी थाने ले गए। इसके बाद भी आम आदमी पार्टी और बस मार्शलों के हौसले बुलंद है और आम आदमी पार्टी का ये वचन है कि इन सब ग़रीब बस मार्शलों को बहाल करके ही चैन लेंगे।
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मंत्री सौरभ भारद्वाज ने कहा कि 26 सितंबर को दिल्ली विधानसभा सत्र के दौरान भाजपा और आम आदमी पार्टी के विधायकों ने मिलकर एक संकल्प पास किया था, जिसमें यह निर्णय लिया गया कि दिल्ली में बस मार्शलों को फिर से बहाल किया जाएगा। इसमें यह भी तय हुआ कि 3 अक्टूबर को आम आदमी पार्टी और भाजपा के विधायक उपराज्यपाल विनय सक्सेना के निवास पर जाएंगे। दिल्ली सरकार के सभी मंत्री भी उनके निवास पर जाएंगे और एलजी साहब से आग्रह करेंगे कि कोई भी कागज़ या फाइल, जिस पर दिल्ली के मंत्री या मुख्यमंत्री के हस्ताक्षर आवश्यक हों, उसे आप हमसे साइन करवा लें। हम किसी भी कागज़ या फाइल पर हस्ताक्षर करने के लिए वचनबद्ध थे, ताकि दिल्ली के बस मार्शल फिर से बहाल हो सकें।
सौरभ भारद्वाज ने कहा कि यह गरीब लोग हैं। इनके कंधों पर इनके परिवारों की जिम्मेदारी है। पिछले एक साल से ज्यादा समय से इन्हें पैसा नहीं मिला है। इनके घर के पैसों की दिक्कत है। घर का किराया देना है, बच्चों की फीस भरनी है, राशन खरीदना होता है। ये बस मार्शल एक साल से ज्यादा समय से संघर्ष कर रहे हैं। बार-बार कहा जाता था कि आम आदमी पार्टी ये नहीं कर रही या इनकी सरकार वो नहीं कर रही। तो हमने कहा कि आपको जो फैसला लेना है, और जिस कागज़ पर जो लिखवाना है, उसको लिखवाकर आप हमसे साइन करवा लीजिए।
सौरभ भारद्वाज ने कहा कि गुरुवार को हम दोपहर से ही यहां बैठे हुए थे। आम आदमी पार्टी के कई विधायक और दिल्ली सरकार के मंत्री यहां आए, दोपहर से अब रात हो गई। पुलिस ने यहां की सारी लाइट बंद कर दी। पास के अस्पताल से बस मार्शल पानी पी रहे थे, वहां का पानी बंद करा दिया। एलजी साहब खुद तो अपने दफ्तर की दीवारों के पीछे छिपकर बैठे हुए हैं। जबकि हजारों बस मार्शल, मंत्री और विधायक उनके घर के बाहर हैं। उनके अंदर इतनी भी नैतिकता नहीं है कि वो उनको बुलाएं और उनसे बात करें। नैतिकता तो दूर की बात है, उन्होंने यहां पुलिस को भेज दिया है।
सौरभ भारद्वाज ने कहा कि इन बस मार्शलों ने भाजपा के हर विधायक और सांसद से यह वचन लिया था कि वे हमारे साथ एलजी साहब से मुलाकात करेंगे। यहां कई बस मार्शलों ने भाजपा नेता विजेंद्र गुप्ता को फोन किया। उन्होंने कहा कि वह सतबरी में हैं और इसके 10 मिनट बाद उन्होंने एक वीडियो जारी किया। इसका मतलब वो सतबरी में नहीं, बल्कि अपने दफ्तर में थे। उसके बाद से भाजपा के विधायक और विजेंद्र गुप्ता इन बस मार्शलों का फोन भी नहीं उठा रहे हैं। इसका मतलब साफ है कि भाजपा की नीयत में खोट है। यह चोर की दाढ़ी में तिनका है। आज अगर बस मार्शलों के सामने लोग के साथ मीटिंग हो जाती तो सब दूध का दूध और पानी का पानी हो जाता और सबको सच्चाई पता चल जाती। किसी डर से आज भाजपा के विधायक गायब हैं।
सौरभ भारद्वाज ने कहा कि आज पूरी दिल्ली को पता चल गया है कि जिस तरह संविदा के अलग-अलग कर्मचारी निकाले गए। फिर चाहे वह अस्पतालों व डिस्पेंसरी के अंदर स्वीपर या चौकीदार हों, ओपीडी में कार्ड बनाने वाले डाटा एंट्री ऑपरेटर हों या दिल्ली विधानसभा के अंदर काम करने वाले डीएआरसी के फेलो निकाले गए हों। भाजपा और उनके लोगों ने मिलकर इन सभी गरीब लोगों को बेरोज़गार करने का काम किया है और यह बहुत शर्म की बात है।
आगे की रणनीति के सवाल पर सौरभ भारद्वाज ने कहा कि हम अपने बस मार्शल भाई-बहनों के साथ बैठेंगे और तय करेंगे कि आगे क्या किया जाए। यह कोई धरना नहीं है। यह दिल्ली विधानसभा में पास हुए प्रस्ताव के लिए हम एलजी साहब से मिलने आए हैं। भाजपा वाले और एलजी साहब डर गए। यह सारे बस मार्शल जिनकी नौकरी का सवाल है, यह देखने आए हैं कि मीटिंग हो रही है या नहीं। यह कोई धरना या प्रदर्शन नहीं है, यह भाजपा का यू-टर्न है।