सोशल संवाद / डेस्क : तेलंगाना के मुख्यमंत्री रेवंत रेड्डी ने दिल्ली शराब नीति घोटाला केस में BRS नेता के कविता को सुप्रीम कोर्ट से मिली जमानत पर सवाल उठाए। जिस पर जस्टिस बीआर गवई की बेंच ने गुरुवार को फटकार लगाई।
दरअसल, सुप्रीम कोर्ट 2015 के कैश-फॉर-वोट घोटाले से जुड़े केस को भोपाल ट्रांसफर करने की मांग वाली याचिका पर सुनवाई कर रही थी, जिसमें तेलंगाना CM रेवंत रेड्डी भी एक आरोपी हैं।
इसी दौरान रेवंंत के वकील मुकुल रोहतगी से अदालत ने पूछा कि क्या आपने अखबार में पढ़ा कि उन्होंने (रेवंत) क्या कहा? बस उन्होंने जो कहा है, उसे पढ़िए।
इसके बाद कोर्ट ने कहा कि सियासी लड़ाई में अदालत को क्यों घसीटा जाए। क्या अदालत राजनीतिक पार्टियों या नेताओं से पूछकर कोई फैसला सुनाती है। ऐसे बयान से लोगों के मन में आशंका पैदा हो सकती है।
28 अगस्त को रेवंत ने कविता की जमानत हासिल करने के लिए भाजपा और BRS के बीच डील की तरफ इशारा किया था।
CM रेड्डी ने कहा था- BRS ने लोकसभा में BJP की जीत के लिए काम किया
तेलंगाना CM ने मंगलवार को मीडिया से बातचीत में कहा था कि तेलंगाना के पूर्व CM केसीआर की बेटी और MLC के कविता को 5 महीने में जमानत मिलने पर संदेह है। मनीष सिसोदिया को 15 महीने बाद जमानत मिली। जबकि CM केजरीवाल को अभी तक जमानत नहीं मिली है।
रेवंत रेड्डी ने आरोप लगाया कि BRS ने 2024 के लोकसभा चुनावों में भाजपा की जीत के लिए काम किया। ऐसी भी चर्चा है कि कविता को BRS और भाजपा के बीच समझौते के कारण जमानत मिली है।