सोशल संवाद/ डेस्क: विदेश सचिव विक्रम मिस्री ने संसद की स्थायी समिति के सामने सीजफायर में ट्रंप की भूमिका और पाकिस्तान, तुर्की से साथ तनावपूर्ण संबंधों समेत कई मुद्दों पर अपनी बातें रखीं। उन्होंने कहा कि भारत-पाक के बीच मध्यस्थता को लेकर किए जा रहे ट्रंप के दावे सही नहीं हैं। विदेश सचिव विक्रम मिस्री ने आगे कहा कि यह सही नहीं है। यह भारत और पाकिस्तान के बीच का द्विपक्षीय मुद्दा था और उसी तरीके से सीजफायर का फैसला हुआ है। किसी अन्य देश को जम्मू-कश्मीर के मुद्दों पर टिप्पणी करने का कोई अधिकार नहीं है।
विदेश सचिव विक्रम मिसरी ने कहा की ट्रंप हमसे पूछ कर तो बीच में कूदे नहीं थे अब वह अचानक आ गए तो हम क्या कर सकते हैं। कांग्रेस सांसद शशि थरूर की अध्यक्षता में विदेश मामलों पर संसद की स्थायी समिति की बैठक में तृणमूल कांग्रेस के अभिषेक बनर्जी, कांग्रेस के राजीव शुक्ला और दीपेंद्र हुड्डा, एआईएमआईएम प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी और भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) की अपराजिता सारंगी एवं अरुण गोविल आदि ने भाग लिया। यह बैठक भारतीय सशस्त्र बलों द्वारा पहलगाम हमले का बदला लेने के लिए ‘ऑपरेशन सिंदूर’ शुरू करने और उसके बाद दोनों देशों के बीच हुए सैन्य संघर्ष की पृष्ठभूमि में हो रही है।
भारत और पाकिस्तान 10 मई को सैन्य कार्रवाई रोकने के लिए सहमत हुए थे। मिसरी सोमवार और मंगलवार को ‘भारत एवं पाकिस्तान के संबंध में वर्तमान विदेश नीति घटनाक्रम’’ पर पैनल को जानकारी देंगे।ऑपरेशन सिंदूर’ की पृष्ठभूमि में आतंकवाद के खिलाफ कड़ाई से निपटने के भारत के संकल्प के बारे में वैश्विक नेताओं को जानकारी देने के लिए सरकार ने 33 देशों में सर्वदलीय प्रतिनिधिमंडल भेजने का निर्णय लिया है।