सोशल संवाद/डेस्क : बिहार में चुनावी सरगर्मी के बीच बयानबाजी का दौर तेज है। चुनाव की तारीखों का ऐलान कभी भी हो सकता है। चुनाव आयोग ने बिहार सरकार को 6 अक्टूबर तक सरकारी कर्मचारियों के तबादले की प्रक्रिया पूरी करने का निर्देश दिया है।इधर, चुनाव से पहले नीतीश सरकार ने पूर्णिया सांसद पप्पू यादव की सुरक्षा घटा दी है। इसी साल 10 अगस्त को ही उनकी सुरक्षा बढ़ाई गई थी।
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धर्मेंद्र प्रधान बने बीजेपी के बिहार चुनाव प्रभारी
बीजेपी ने बिहार चुनाव के लिए धर्मेंद्र प्रधान को प्रभारी बनाया है। सीआर पाटिल और केशव मौर्य को सह प्रभारी बनाया गया है। मीडिया प्रभारी संजय मयूख ने ये जानकारी दी है।धर्मेंद्र प्रधान का बिहार से गहरा नाता रहा है। साल 2012 में वे बिहार से राज्यसभा सांसद चुने गए और 2014 के लोकसभा चुनाव में बीजेपी की जीत में अहम रणनीतिकार रहे थे।जब भी बीजेपी और जदयू के बीच तनाव की स्थिति बनी तो धर्मेंद्र ने संकटमोचक की भूमिका निभाई। राजनीति के जानकार कहते हैं कि धर्मेंद्र प्रधान की मुख्यमंत्री नीतीश से नजदीकी और बिहार की जमीनी समझ उन्हें NDA के लिए महत्वपूर्ण बनाती है।
मुजफ्फरपुर में NDA के सम्मेलन में हंगामा
मुजफ्फरपुर में गुरुवार को एनडीए कार्यकर्ता सम्मेलन में जमकर हंगामा हुआ। सम्मेलन में JDU और लोजपा (रामविलास) के समर्थक आमने-सामने हो गए। जारंग हाईस्कूल मैदान में दोनों पार्टियों के टिकट के दावेदारों के समर्थक आपस में भिड़ गए।गायघाट सीट से पूर्व विधायक महेश्वर प्रसाद यादव के बेटे प्रभात किरण (जेडीयू) और लोजपा की पूर्व प्रत्याशी कोमल सिंह (MLC दिनेश सिंह और MP वीणा देवी की पुत्री) के बीच लंबे समय से टिकट को लेकर रस्साकशी चल रही है।
गुरुवार को हुए सम्मेलन में दोनों गुटों के समर्थकों में नारेबाजी शुरू हुई, जो देखते ही देखते तीखी नोकझोंक और फिर मारपीट में बदल गई। स्थिति इतनी बिगड़ गई कि मंच पर भी प्रभात किरण और कोमल सिंह के बीच तीखी बहस हो गई।गुस्साए कार्यकर्ताओं ने मंच पर रखी टेबल पलट दी और कुर्सियां तोड़ दीं। हंगामे के बीच कई नेताओं को घेरकर नारेबाजी की गई। जिससे सम्मेलन स्थल पर अफरा-तफरी मच गई। हंगामे में 12 लोगों के घायल होने की खबर है।








