सोशल संवाद / झारखंड : झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने विधानसभा चुनाव में बड़ी जीत दर्ज की है. इसके साथ ही झारखंड मुक्ति मोर्चा की झारखंड में दूसरी बार वापसी हो रही है. झारखंड मुक्ति मोर्चा (जेएमएम) के नेतृत्व वाले गठबंधन ने 81 में से 57 सीटों पर बढ़त बनाई. अपनी जीत का श्रेय उन्होंने अपनी पत्नी कल्पना सोरेन और मजबूत टीम वर्क को दिया.
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हेमंत सोरेन ने कहा, ‘झारखंड में लोकतंत्र की परीक्षा में हम पास हो गए हैं, चुनाव परिणाम के बाद हम अपनी रणनीति को अंतिम रूप देंगे.’ उन्होंने कहा, ‘मैं इस शानदार प्रदर्शन के लिए राज्य की जनता के प्रति आभार व्यक्त करता हूं. ‘ हेमंत से पूछा गया, क्या आप कहेंगे कि इस चुनाव में जीत हासिल करने के लिए आप पर बहुत दबाव था? उन्होंने कहा, ‘बहुत, मैं आपको बता नहीं सकता कि कितना दबाव था, मुझे नहीं लगता कि मैंने ऐसा कोई चुनाव कभी देखा है और मुझे नहीं लगता कि कभी देखूंगा.’
हेमंत सोरेन ने अपनी पत्नी कल्पना की मेहनत को सराहा और कहा कि जब वे जेल में थे, तब कल्पना ने ‘वन-मैन आर्मी’ की तरह काम किया. इस बार, दोनों ने मिलकर मेहनत की, जिसका नतीजा जीत के रूप में सामने आया. भाजपा द्वारा बांग्लादेशी घुसपैठ के मुद्दे पर हेमंत ने कहा कि नेताओं और जनता का रिश्ता शिक्षक और विद्यार्थी जैसा होना चाहिए. उन्होंने मतदाताओं की जरूरतों को समझने और उनके मुद्दों को हल करने पर ध्यान दिया. पिछले पांच साल में उनकी पार्टी ने जनता के साथ नज़दीकी रिश्ता बनाया, जो जीत में मददगार रहा.
सोरेन ने यह भी कहा कि झारखंड ‘अबुआ राज, अबुआ सरकार’ (अपना राज्य, अपनी सरकार) की पटकथा लिखने के लिए तैयार है. इस बीच, कांग्रेस के राष्ट्रीय महासचिव गुलाम अहमद मीर ने कहा, ‘सोरेन झारखंड के मुख्यमंत्री हैं और आगे भी बने रहेंगे.’