साल में कार्तिक माह को सबसे पावन माह मन जाता है. इस माह में बहुत सारे पावन त्यौहार मनाये जाते है. इसी महीने में साल का सबसे माहन और बड़ा पर्व छठ पूजा मनाया जाता है. हिन्दू धर्म में छठ पूजा को सबसे बड़ा पर्व मन जाता है. छठ पूजा से संबंधित बहुत सारे कथा है. छठ पूजा उगते और डूबता सूर्य की पूजा की जाती है और अर्घ्य दिया जाता है.
छठ पूजा 2023 कब और इसकी तारीख़ | Chath Puja Date 2023
छठ पूजा इस 18 नवंबर शनिवार को शुरू हो रहा है. 19 नवंबर पहली अर्घ्य यानी संध्या अर्घ्य और 20 नवंबर को अतिंम अर्घ्य दी जा रही है (18/11/2023 – 22/11/2023)
छठ पूजा सामग्री सूची | chath puja ingredients
1.प्रसाद के लिए बांस की तीन टोकरी
2.बांस या पीतल के तीन सूप
3.शुद्ध जल और दूध का लोटा, थाली
4.गिलास
5.नारियल
6.साड़ी-कुर्ता पजामा
7.गन्ना पत्तों के साथ
8.हल्दी अदरक हरा पौधा
9.सुथनी
10.शकरकंदी
11.डगरा
12.हल्दी और अदरक का पौधा
13.नाशपाती
14.नींबू बड़ा
15.केला, केले का पूरा गुच्छा
16.शहद की डिब्बी
17.पान सुपारी
18.कैराव
19.सिंदूर
20.कपूर
21.कुमकुम,चन्दन
22.अक्षत के लिए चावल
24.ठेकुआ, मालपुआ
25.खीर-पूड़ी
26.फल
27.सूजी का हलवा
28.चावल का बना लड्डू/लड्डुआ
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क्या है ललही छठ
ललही छठ पूजा भाद्रपद माह में कृष्ण पक्ष की षष्ठी तिथि को हलछठ का त्योहार मनाया जाता है। इसे हलषष्ठी, ललई छठ और ललही छठ के नाम से भी जाना जाता है। ये एक दिन का त्यौहार है और ये पर्व ज्यदातर up और बिहार के लोग मानते है. ये पर्व कार्तिक माह में मनाये जाने वाले छठ पूजा से एकदम अलग है।
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छठ पूजा मनाने का कारण
छठ पूजा का सीधा संबध महाभारत से है जब पांडव सारा राजपाठ जुए में हार गए, तब द्रोपदी ने छठ व्रत रखा था। ये व्रत करने से द्रोपदी की मनोकामना पूरी हुई थी और पांडवों को सब कुछ वापस मिल गया।
छठ पूजा का मतलब क्या है
माना जाता है की छठी मइया की पूजा करने से बच्चों को दीर्घायु होती है और उन्हें आरोग्य का वरदान मिलता है. जिन महिलाओं की संतान नहीं है, छठ पूजा करने से संतान की प्राप्ति होती है.