January 22, 2025 12:28 pm

बड़ा जामदा क्षेत्र के विजय टू लौह अयस्क खादान टाटा स्टील लि. के ठेकेदार माँ अन्नपूर्णा माइनिंग कंपनी की मनमानी चरमसीमा पर(आक्रोशित श्रमिकों ने ठेकादार कार्यालय का घंटो किया धेराव)

सोशल संवाद/बड़बिल(रिपोर्ट – संजय सिन्हा ) : बड़बिल के निकट झारखंड सीमावर्ती क्षेत्र बड़ा जामदा के हाथीगेट स्थित टाटा स्टील लि. द्वारा संचालित विजय 2लौह अयस्क खादान के क्रेशर एवं स्क्रीन प्लांट के ठीकेदार माँ अन्नपूर्णा माइनिंग कंपनी मे कार्यरत दर्जनों श्रमिक ठीका कंपनी के बड़ा जामदा स्थित कार्यालय का घंटो डटे रहे परंतु कंपनी अधिकारी मिलनै कोई नही आया।आक्रोशित श्रमिको ने बताया कि टाटा स्टील लि. के विजय 2लौह अयस्क खादान मे लगे क्रेशर एवं स्क्रीन प्लांट का ठीका दो वर्षो से माँ अन्नपूर्णा माईनिंग कंपनी द्वारा लिया गया है।काम आरंभ करने के पूर्व कंपनी प्रबंधन द्वारा श्रमिकों को समय समय पर वेतन वृद्धि के साथ साथ अन्य सुविधाओं दैनै की मौखिक रूप से कही गई थी।

लेकिन ठीका कंपनी अपने वायदे से मुकर कर मनमानी एवं दादागिरी पर उतर आई।दो साल से पीइएफ का रसीद नही दिया गया।और ना ही दो वर्षो से वेतन वृद्धि की गई।माँ अन्नपूर्णा कंपनी द्वारा श्रमिकों को नास्ता पालिथिन मे ला कर दिया जाता है।पालिथीन मे गर्म खाद-पदार्थ रखने से पेट संबंधित रोग से अनेको श्रमिक जुझ रहे है।वेतन वृद्धि एवं पीइएफ रसीद माँगने पर उसे काम पर से बैठाने की धमकी दी जाती है।माँ अन्नपूर्णा कंपनी के श्रमिकों ने खादान संचालक टाटा स्टील लि. के अधिकारियों को अनेको बार मौखिक रूप से शिकायत की लेकिन कुछ सुधार नही हुआ।

ठीकादार माँ अन्नपूर्णा कंपनी के श्रमिकों ने मुख्य माँगो को लिखित रूप से दिया था।परंतु ठीका कंपनी अधिकारी तालमटोल कर ठुकराने का कार्य किया।श्रमिकों का सब्र का बाँध टूटा।श्रमिकों ने खादान मे क्रेशर एवं स्क्रीन प्लांट को बंद कर बड़ा जामदा टाउनशिप मे स्थित माँ अन्नपूर्णा माईनिंग कंपनी के कार्यालय पर घंटो डटे रहे।श्रमिकों मे मनचुरिया सिधू (ग्रामीण मंडा),दीनबंधु पात्रो,दुलाल चंपिया ,प्रमेशवर बुर्मा,कमल,नंदा चंपिया, कमेशवर माँझी, आदि के साथ दर्जनों श्रमिकों ने अशंका जताते हुए कहा कि आगामी 31मई 2024को माँ अन्नपूर्णा कंपनी का टेंडर समाप्त हो रहख है,और वो सभी का पीइएफ आदि का रुपया लेकर चंपत के चक्कर मे है। ज्ञात हो कि माँ अन्नपूर्णा ठीका कंपनी मे 50से भी अधिक स्थानीय ग्रामीण श्रमिक के रुप मे कार्यरत है।एवं जामदा आसपास क्षेत्रो मे दर्जनों श्रमिक संगठन पर परंतु सभी चुप क्यो है।

Print
Facebook
Twitter
Telegram
WhatsApp
Paracetamol से होने वाले नुकसान ठंडे पानी से मुंह धोने के फायदे किन राज्यों में लागू है पेसा कानून 2024 के सबसे ज्यादा सुने गए गाने जाने कितनी बार कर सकते हैं आधार अपडेट हमेशा नीली पगड़ी क्यों पहनते थे मनमोहन सिंह Black Forest Cake का नाम Black Forest कैसे पड़ा ? क्या है Tesla car की खासियत sugar बढ़ने के लक्षण Keyboards पर QWERTY क्रम में क्यों रहते हैं अक्षर